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Monday, June 8, 2020

कॅरोना दोहे

जब भी बाहर जाइये, रखिये सेनिटाइजर साथ,
गलती से कुछ छू गया, तुरंत धोइये हाथ।

वर्क फ्रॉम होम की रीत है, क्यों निकले तू रोड़
जहाँ भीड़ को देखिए, ले कदम को मोड़।

बाहर जाना जो पड़े, मजबूरी को ठान
रखिये सुरक्छा स्वयं की, घर आ के स्नान।

हाथ मे हाथ न राखिये, बढ़े रोग से रोग
दो गज़ दूरी होने से ,रहे सुरक्छित लोग।

मुख पर मास्क लगाई के, हाथो में दस्ताने
रख जेब मे सेनिटाइजर, शान चले मस्ताने।

हिंदुस्तानी प्रथा है, उठे नमस्कार में हाथ
कॅरोना जो छू गया, कोई न देगा साथ।

बोलन को अभी रोक है, चुमन को अभिशाप
नैनन से चर्चा करो, गले मिलायन पाप।

वर्क फ्रॉम होम में चचा है, चाची ऑन द ज़ूम
ऑनलाइन क्लास में बच्चे है, रहा कॅरोना झूम।

ऑनलाइन सब चले है, ऑफलाइन सब ठप्प
मिलना हो तो किससे मिले, किससे करे अब गप्प।

गूगल मीटिंग हो रही, ज़ूम क्लास है ऑन
टीम व्यूअर पर ऑफिस है, मोबाइल पर कान।

बाहर कॅरोना घूम रहा, हम सब घर मे बन्द
दिन पर दिन बीते पड़े, काम धाम सब मन्द।

I am thankful 🙏